पीएम मोदी ने कहा कि भारत इन दोनों देशों की मदद के लिए पूरी तरह से तैयार है
म्यांमार,संवाददाता : म्यांमार में शुक्रवार को एक विनाशकारी भूकंप आया, जो अब तक का सबसे बड़ा और भयंकर भूकंप माना जा रहा है। भूकंप की तीव्रता रिक्टर स्केल पर 7.7 मापी गई और इसकी गहराई दस किलोमीटर थी। भारतीय समयानुसार, यह भूकंप सुबह 11 बजकर 50 मिनट पर आया (लोकल समय के अनुसार 12 बजकर 50 मिनट)। भूकंप के बाद म्यांमार के कई इलाकों में भारी तबाही मच गई। इमारतें ढह गईं, सड़कों में गड्ढे हो गए और कई वाहन सड़क में दब गए। कई लोग मलबे में दब गए, जिससे अब तक करीब 700 लोगों की मौत हो गई है। वहीं, 1700 से अधिक लोग घायल हुए हैं, जिनमें से कई की स्थिति गंभीर बताई जा रही है।
भूकंप का असर थाईलैंड, नेपाल, भारत, चीन और वियतनाम में भी महसूस किया गया। थाईलैंड में भी भूकंप की वजह से कई लोगों की मौत और घायल होने की जानकारी प्राप्त हुई है। म्यांमार में सेना ने छह बड़े शहरों में आपातकाल की घोषणा कर दी है और राहत कार्य तेजी से चलाए जा रहे हैं। इस भूकंप के बाद भारत ने म्यांमार और थाईलैंड के लिए तुरंत राहत सामग्री भेजी है। भारतीय प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इस घटना पर शोक व्यक्त किया और भूकंप के प्रभावित दोनों देशों की सुरक्षा के लिए प्रार्थना की। पीएम मोदी ने कहा कि भारत इन दोनों देशों की मदद के लिए पूरी तरह से तैयार है और विदेश मंत्रालय को लगातार संपर्क में रहने का निर्देश दिया।
भूकंप के बाद म्यांमार की सेना ने अंतरराष्ट्रीय समुदाय से मदद की अपील की है, ताकि प्रभावित क्षेत्रों में राहत और पुनर्निर्माण कार्य तेजी से किया जा सके। भूकंप के कारण म्यांमार में भारी जान-माल का नुकसान हुआ है, और अब तक 700 से ज्यादा लोग अपनी जान गंवा चुके हैं। राहत कार्य जारी हैं और घायलों को अस्पतालों में भर्ती किया जा रहा है।