ज्योतिषाचार्य डॉ उमाशंकर मिश्रा
लखनऊ,संवाददाता : फाल्गुन माह के कृष्ण पक्ष की द्वादशी तिथि आज यानी 23 फरवरी को है। साथ ही रविवार भी है। सनातन धर्म में रविवार का विशेष महत्व है। धार्मिक मान्यता है कि रविवार के दिन सूर्य देव की पूजा करने से कारोबार में वृद्धि होती है। घर में सुख-शांति का आगमन होता है। द्वादशी तिथि पर कई शुभ और अशुभ योग बन रहे हैं।
सूर्योदय और सूर्यास्त का समय
- सूर्योदय: सुबह 06 बजकर 52 मिनट पर
- सूर्यास्त: शाम 06 बजकर 17 मिनट पर
चन्द्रोदय और चंद्रास्त
- चन्द्रोदय: सुबह 04 बजकर 09 मिनट पर
- चंद्रास्त: दोपहर 01 बजकर 19 मिनट पर
वार: रविवार
ऋतु: वसंत
शुभ समय
- ब्रह्म मुहूर्त: सुबह 05 बजकर 11 मिनट से 06 बजकर 02 मिनट तक
- विजय मुहूर्त: दोपहर 06 बजकर 29 मिनट से 03 बजकर 14 मिनट तक
- गोधूलि मुहूर्त: शाम 06 बजकर 14 मिनट से 06 बजकर 40 मिनट तक
- निशिता मुहूर्त: रात 12 बजकर 09 मिनट से 12 बजकर 59 मिनट तक
अशुभ समय
- राहुकाल: दोपहर 04 बजकर 51 मिनट से 06 बजकर 17 मिनट तक
- गुलिक काल: दोपहर 03 बजकर 26 मिनट से 04 बजकर 51 मिनट तक
- दिशा शूल: पश्चिम
नक्षत्र के लिए उत्तम ताराबल
- अश्विनी, भरणी, कृत्तिका, मृगशिरा, पुनर्वसु, आश्लेषा, मघा, पूर्वा फाल्गुनी, उत्तरा फाल्गुनी, चित्रा, विशाखा, ज्येष्ठा, मूल, पूर्वाषाढ़ा, उत्तराषाढ़ा, धनिष्ठा, पूर्वाभाद्रपद, रेवती
राशि के लिए उत्तम चन्द्रबलम
- मिथुन, कर्क, तुला, धनु, कुम्भ, मीन
कामना पूर्ति के लिए सूर्य के मंत्रों का जाप करें
- ॐ घृणिं सूर्य्य: आदित्य:
- ॐ ह्रीं ह्रीं सूर्याय नमः
- ॐ सूर्याय नम:
- ॐ घृणि सूर्याय नम:
- ॐ ह्रीं ह्रीं सूर्याय सहस्रकिरणराय मनोवांछित फलम् देहि देहि स्वाहा
- ॐ ऐहि सूर्य सहस्त्रांशों तेजो राशे जगत्पते, अनुकंपयेमां भक्त्या, गृहाणार्घय दिवाकर
- ॐ ह्रीं घृणिः सूर्य आदित्यः क्लीं ॐ