मृतकों के परिजनों से मुलाकात की और उन्हें पांच-पांच लाख रुपये की सहायता राशि के सौंपे ड्राफ्ट
संभल,संवाददाता : संभल जिले में जामा मस्जिद में हुए सर्वे को लेकर 24 नवंबर को हुई हिंसा में पांच मुस्लिम युवकों की मौत हो गई थी। इस घटना के बाद जमीयत उलेमा-ए-हिंद ने मृतकों के परिजनों को पांच-पांच लाख रुपये की आर्थिक मदद देने का ऐलान किया था। हालांकि, प्रशासन ने दस दिसंबर तक बाहरी लोगों के संभल आने पर पाबंदी लगा दी थी, जिससे माना जा रहा था कि जमीयत उलेमा-ए-हिंद का प्रतिनिधिमंडल दस दिसंबर के बाद ही सहायता राशि देने आएगा। इसके बावजूद, मंगलवार को जमीयत उलेमा-ए-हिंद के वर्किंग कमेटी के सदस्य मुफ्ती अफ्फान और उनके साथ दो अन्य लोग बिना किसी पूर्व घोषित कार्यक्रम के संभल पहुंच गए। इन लोगों ने मृतकों के परिजनों से मुलाकात की और उन्हें पांच-पांच लाख रुपये की सहायता राशि के ड्राफ्ट सौंपे। साथ ही, मृतकों के परिवारों को यह भरोसा भी दिलाया कि जमीयत उलेमा-ए-हिंद हर तरह से उनके साथ खड़ा है।
प्रशासन को इस घटनाक्रम की जानकारी तब मिली जब प्रतिनिधिमंडल अपना काम पूरा कर सरायतरीन के एक मदरसे में बैठा था। पुलिस ने जमीयत उलेमा-ए-हिंद के प्रतिनिधियों को पाबंदी का हवाला दिया, लेकिन मुफ्ती अफ्फान ने कहा कि वे किसी के घर नहीं गए हैं, बल्कि मदरसे में ही मृतकों के परिजनों को बुलाकर सहायता राशि दी है। यह घटना प्रशासन के लिए चौंकाने वाली रही, क्योंकि बाहरी लोगों के आगमन पर पाबंदी के बावजूद यह प्रतिनिधिमंडल बिना किसी सूचना के संभल पहुंचा। पुलिस अब इस मामले में आगे की कार्रवाई पर विचार कर रही है।