आज रात 12 बजे से लागू हो जाएंगे कई बड़े नियम, अप्रैल से यूपीआई ट्रांजैक्शन में हो सकती है दिक्कत
दिल्ली,संवाददाता : नए फाइनेंशियल ईयर 2025-26 की शुरुआत के साथ ही कई बड़े नियमों में बदलाव होने जा रहे हैं, जो आपकी जेब और रोजमर्रा की जिंदगी पर सीधा असर डाल सकते हैं। एक अप्रैल 2025 से बैंकिंग, जीएसटी, इनकम टैक्स, डिजिटल पेमेंट, और अन्य सेक्टर्स में नए नियम लागू होंगे, जो आम नागरिकों से लेकर बिजनेस करने वालों तक, सभी के लिए महत्वपूर्ण हैं। इन बदलावों की जानकारी पहले से रखकर आप किसी भी परेशानी से बच सकते हैं। आइए, विस्तार से जानते हैं उन दस बड़े बदलावों के बारे में, जो आज रात 12 बजे से लागू हो जाएंगे।
यूपीआई नियमों में बदलाव: इनएक्टिव अकाउंट्स पर सख्ती
नेशनल पेमेंट कॉरपोरेशन ऑफ इंडिया ने डिजिटल पेमेंट को सुरक्षित बनाने के लिए बड़ा कदम उठाया है। अप्रैल 2025 से उन यूपीआई अकाउंट्स के ट्रांजैक्शन बंद कर दिए जाएंगे, जो लंबे समय से इनएक्टिव हैं। अगर आपके बैंक अकाउंट से कोई पुराना या बंद नंबर लिंक है, तो उसे तुरंत अपडेट कर लें। ऐसा न करने पर एक अप्रैल से यूपीआई ट्रांजैक्शन में दिक्कत हो सकती है। एनपीसीआई का यह कदम फ्रॉड और अनऑथराइज्ड ट्रांजैक्शन को रोकने के लिए उठाया गया है।
डोरमेंट यूपीआई आईडी होंगी डिसेबल: एक्टिवेशन जरूरी
एनपीसीआई फ्रॉड और फिशिंग स्कैम को रोकने के लिए सख्त कदम उठा रहा है। एक अप्रैल 2025 से, पिछले 12 महीनों से इस्तेमाल न किए गए यूपीआई आईडी को डिसेबल कर दिया जाएगा। अगर आप अपनी डोरमेंट यूपीआई आईडी को दोबारा एक्टिवेट नहीं करते, तो आप इसे हमेशा के लिए खो सकते हैं। डिजिटल पेमेंट में किसी भी रुकावट से बचने के लिए अपनी यूपीआई आईडी को चेक करें और उसे एक्टिव रखें।
एफडी पर अब ज्यादा फायदा: टीडीएस लिमिट में बढ़ोतरी
फिक्स्ड डिपॉजिट में निवेश करने वालों के लिए खुशखबरी है। एक अप्रैल 2025 से एफडी, रेकरिंग डिपॉजिट, और अन्य सेविंग स्कीम्स पर मिलने वाले ब्याज पर टीडीएस की छूट सीमा बढ़ा दी गई है। सीनियर सिटीजन के लिए यह लिमिट 50,000 रुपये से बढ़ाकर 1 लाख रुपये कर दी गई है, यानी अब एक लाख रुपये तक के ब्याज पर कोई टीडीएस नहीं कटेगा। वहीं, अन्य निवेशकों के लिए यह सीमा 40,000 रुपये से बढ़ाकर 50,000 रुपये की गई है। यह बदलाव सीनियर सिटीजन को खासतौर पर फायदा पहुंचाएगा, क्योंकि उनकी टीडीएस छूट सीमा को दोगुना कर दिया गया है।
सेविंग अकाउंट और एफडी इंटरेस्ट रेट में बदलाव
कई बड़े बैंक एक अप्रैल 2025 से सेविंग अकाउंट और एफडी की ब्याज दरों में बदलाव करने जा रहे हैं। एसबीआई, एचडीएफसी, इंडियन बैंक, पंजाब एंड सिंध बैंक, और आईडीबीआई जैसे बैंकों ने अपनी एफडी और स्पेशल एफडी की ब्याज दरों में संशोधन किया है। अगर आप एफडी या सेविंग अकाउंट में निवेश की योजना बना रहे हैं, तो अपने बैंक की वेबसाइट पर जाकर नई ब्याज दरों की जानकारी जरूर ले लें। यह बदलाव आपकी बचत और रिटर्न को प्रभावित कर सकता है।
डिविडेंड के लिए पैन-आधार लिंकिंग अनिवार्य
अगर आप शेयर मार्केट में निवेश करते हैं और डिविडेंड का लाभ लेते हैं, तो यह खबर आपके लिए जरूरी है। एक अप्रैल 2025 से, जिन लोगों का PAN और आधार लिंक नहीं होगा, उन्हें स्टॉक्स पर डिविडेंड नहीं मिलेगा। इसके अलावा, कैपिटल गेन पर टीडीएस की दर भी बढ़ जाएगी, और फॉर्म 26 एस में कोई क्रेडिट भी नहीं मिलेगा। समय रहते अपने पैन और आधार को लिंक कर लें, ताकि किसी भी नुकसान से बचा जा सके।
डीमैट और म्यूचुअल फंड अकाउंट के नियम होंगे सख्त
सेबी ने डीमैट और म्यूचुअल फंड अकाउंट्स के लिए नियमों को सख्त कर दिया है। एक अप्रैल 2025 से सभी निवेशकों को अपनी केवाईसी और नॉमिनी डिटेल्स को अपडेट करना अनिवार्य होगा। ऐसा न करने पर आपका डीमैट अकाउंट फ्रीज हो सकता है। हालांकि, फ्रीज होने के बाद भी आप इसे दोबारा एक्टिवेट कर सकते हैं, लेकिन परेशानी से बचने के लिए समय रहते अपडेट कर लें।
सेविंग अकाउंट में मिनिमम बैलेंस जरूरी
एक अप्रैल 2025 से, अगर आपके सेविंग अकाउंट में मिनिमम बैलेंस नहीं है, तो बैंक आपसे पेनल्टी वसूल सकता है। अलग-अलग बैंकों की मिनिमम बैलेंस की सीमा अलग हो सकती है। इसलिए, अपने बैंक की पॉलिसी को अच्छे से समझ लें और अकाउंट में जरूरी बैलेंस मेंटेन करें, ताकि अनावश्यक जुर्माने से बचा जा सके।
जीएसटी नियमों में बड़ा बदलाव: आईएसडी सिस्टम लागू
नए फाइनेंशियल ईयर में जीएसटी नियमों में भी बड़ा बदलाव होने जा रहा है। एक अप्रैल 2025 से इनपुट सर्विस डिस्ट्रीब्यूटर सिस्टम लागू होगा। इसका मकसद राज्यों के बीच टैक्स रेवेन्यू का सही डिस्ट्रीब्यूशन सुनिश्चित करना है। यह बदलाव जीएसटी सिस्टम को और पारदर्शी बनाएगा, साथ ही बिजनेस करने वालों को अपनी टैक्स लायबिलिटी को बेहतर तरीके से मैनेज करने में मदद करेगा।
एलपीजी गैस सिलेंडर की कीमतों में बदलाव
हर महीने की तरह, एक अप्रैल 2025 को भी एलपीजी गैस सिलेंडर की कीमतों में बदलाव होगा। तेल कंपनियां घरेलू और कमर्शियल गैस सिलेंडर की कीमतों को रिव्यू करेंगी, और अंतरराष्ट्रीय तेल की कीमतों व डॉलर-रुपए के एक्सचेंज रेट के आधार पर नई कीमतें तय करेंगी। इस बदलाव का सीधा असर आपकी जेब पर पड़ेगा, इसलिए पहले से तैयार रहें।
नए टैक्स नियम होंगे लागू
एक अप्रैल 2025 से असेसमेंट ईयर 2025-26 शुरू हो जाएगा, और नया टैक्स सिस्टम डिफॉल्ट रूप से लागू होगा। अगर आप पुराने टैक्स रिजीम के तहत 80C जैसे डिडक्शन का लाभ लेना चाहते हैं, तो आपको इसका विकल्प अलग से चुनना होगा। नए टैक्स सिस्टम में टैक्स स्लैब और छूट के नियम अलग हैं, इसलिए अपनी टैक्स प्लानिंग पहले से कर लें।