तीर्थयात्रियों की भारी संख्या के बावजूद, त्वचा रोग का कोई मामला सामने नहीं आया
लखनऊ,संवाददाता : उत्तर प्रदेश सरकार में स्वास्थ्य महकमा संभाल रहे उप मुख्यमंत्री ब्रजेश पाठक ने महाकुंभ स्नान के बाद त्वचा रोग का कोई मामला सामने न आने का दावा किया। यह बयान उन्होंने एक न्यास द्वारा आयोजित दो दिवसीय विचार महाकुंभ का उद्घाटन करते हुए दिया।
पाठक ने संगम के पानी की शुद्धता को लेकर विपक्षी नेताओं द्वारा उठाए गए सवालों का जिक्र करते हुए कहा कि विपक्ष ने दावा किया था कि महाकुंभ स्नान के बाद कई तीर्थ यात्री बीमार पड़ गए थे। उन्होंने साफ-सफाई की सराहना करते हुए कहा, “तीर्थयात्रियों की भारी संख्या के बावजूद, त्वचा रोग का कोई मामला सामने नहीं आया।” उप मुख्यमंत्री ने कुंभ के दौरान की गई स्वच्छता उपायों की सफलता पर जोर दिया और गंगा की शुद्धता पर भी चर्चा की। उन्होंने कहा कि “सनातन और भारतीय संस्कृति पर आज से हमले नहीं हो रहे हैं, यह हमले सदियों से हो रहे हैं। हमारे वेद, पुराण, श्रुतियां और स्मृतियां पर कुठाराघात किया गया है।”
पाठक ने तक्षशिला और नालंदा जैसे शिक्षा केंद्रों पर किए गए हमलों को याद करते हुए कहा, “मुगल और अंग्रेजों ने हमारी संस्कृति को नष्ट करने की भरसक कोशिश की, लेकिन हमारी संस्कृति अक्षुण्ण रही और वह दुनिया को मार्ग दिखाती रही।” उन्होंने महाकुंभ में सास-बहू के रिश्ते का उदाहरण देते हुए कहा, “महाकुंभ में 90 वर्ष की सास को उसकी बहू कंधे पर उठाकर ले जा रही थी। यह किसी अन्य समाज या संस्कृति में असंभव होता।” पाठक ने कहा, “महाकुंभ एक वैश्विक उत्सव बन गया है, जो भारत और भारतीयता का परिचायक है। 2014 के बाद से नरेन्द्र मोदी जी के नेतृत्व में देश में आमूल-चूल परिवर्तन आया है, और अब हम गर्व से कहते हैं कि हम भारतीय हैं।”