शॉर्ट सर्किट से मची अफरा-तफरी, दमकल कर्मियों की तत्परता से टली अनहोनी
बाराबंकी,संवाददाता : शनिवार दोपहर शहर के सिविल कोर्ट परिसर में उस समय हड़कंप मच गया, जब परिसर स्थित विद्युत नियंत्रण कक्ष संख्या 31 में अचानक आग लग गई। घटना करीब दोपहर 2:30 बजे की है, जब अदालत परिसर न्यायिक कार्यवाही के चलते पूरी तरह से सक्रिय था।आग लगने की जानकारी जैसे ही फैली, कोर्ट भवन में मौजूद वकील, कर्मचारी और फरियादीजन भयभीत हो गए। वकीलों के चेंबर और ऊपर की मंजिलों पर मौजूद सैकड़ों लोगों में भगदड़ जैसी स्थिति उत्पन्न हो गई। लोग सुरक्षा के लिहाज से खुले स्थान की ओर दौड़ने लगे। नीचे वकालत करने वाले अधिवक्ताओं के चेंबर और ऊपरी मंजिलों पर काफी भीड़ होने के कारण अफरा-तफरी और अधिक बढ़ गई।
सतर्कता और संयम ने बचाया बड़ा नुकसान
हालांकि, वहां मौजूद कुछ अधिवक्ताओं और आम नागरिकों ने तत्काल सूझबूझ दिखाते हुए पुलिस और फायर ब्रिगेड को सूचना दी। कुछ ही देर में दमकल की टीम मौके पर पहुंच गई और आग बुझाने का कार्य शुरू कर दिया। फायर कर्मियों ने त्वरित प्रतिक्रिया देते हुए आग को विद्युत कक्ष तक ही सीमित रखा और कोर्ट परिसर को सुरक्षित किया।
शॉर्ट सर्किट को बताया जा रहा कारण
प्रारंभिक जांच में आग लगने की वजह विद्युत शॉर्ट सर्किट मानी जा रही है। आग के कारण विद्युत नियंत्रण कक्ष को नुकसान पहुंचा है, लेकिन गनीमत रही कि समय रहते आग पर नियंत्रण पा लिया गया, अन्यथा बड़ा हादसा हो सकता था।
सवालों के घेरे में विद्युत व्यवस्था
इस घटना ने एक बार फिर सरकारी परिसरों में सुरक्षा और विद्युत व्यवस्था पर सवाल खड़े कर दिए हैं। न्यायालय परिसर जैसा संवेदनशील क्षेत्र यदि इस तरह की लापरवाही की चपेट में आता है, तो यह भविष्य में किसी बड़ी दुर्घटना को दावत दे सकता है। अधिवक्ताओं ने मांग की है कि परिसर की विद्युत प्रणाली की पूर्ण जांच कर आवश्यक सुधार किए जाएं।
संवेदनशील परिसर में आग लगना, चिंता का विषय
सिविल कोर्ट जैसे उच्च सुरक्षा और संवेदनशील परिसर में आग लगना चिंता का विषय है। सौभाग्य से कोई जनहानि नहीं हुई, लेकिन यह घटना भविष्य में संभावित खतरों की चेतावनी जरूर है। प्रशासन को चाहिए कि वह विद्युत उपकरणों की समय-समय पर जांच और रखरखाव सुनिश्चित करे, जिससे ऐसी घटनाओं की पुनरावृत्ति न हो।