ज्योतिषाचार्य – डॉ. उमाशंकर मिश्र
दिनांक: 30 नवम्बर 2025
दिन: रविवार
विक्रम संवत: 2082
शक संवत: 1947
अयन: दक्षिणायन
ऋतु: हेमंत
मास: मार्गशीर्ष
पक्ष: शुक्ल
तिथि: दशमी सायं 4:11 तक, तत्पश्चात एकादशी
नक्षत्र: उत्तरभाद्रपद रात्रि 9:01 तक, तत्पश्चात रेवती
योग: सिद्धि रात्रि 1:17 तक
राहुकाल: शाम 4:30 से 6:00 तक
सूर्योदय: 6:43 AM
सूर्यास्त: 5:17 PM
दिशाशूल: पश्चिम
व्रत पर्व: पंचक
मोक्षदा एकादशी
आज 30 नवम्बर 2025 रविवार को सायं 4:11 से 01 दिसम्बर सोमवार दोपहर 2:21 तक एकादशी है। एकादशी तिथि का पारण 2 दिसंबर मंगलवार को सुबह 8:00 से 10:00 बजे के मध्य करें। यह व्रत अत्यंत पाप-नाशक है। इसके पुण्य से नीच योनि में पड़े पितरों को भी मोक्ष की प्राप्ति होती है।
व्यतिपात योग
01 दिसम्बर 2025 सोमवार को सूर्योदय से रात्रि 10:29 तक व्यतिपात योग है। इस योग में जप, पाठ, प्राणायाम, माला-जप या मानसिक जप करने से भगवान सूर्यनारायण की विशेष कृपा प्राप्त होती है। इस समय किए गए कर्मों का फल एक लाख गुना बढ़ जाता है। वाराह पुराण में इस योग की महिमा वर्णित है।
श्रीमद्भगवद्गीता जयंती
गतांक से आगे…
4वाँ श्लोक
विहाय कामान् यः सर्वान्पुमांश्चरति निस्पृहः।
निर्ममो निरहंकारः स शांतिमधिगच्छति॥
अर्थ: इच्छाओं, ममता और अहंकार के बिना कर्तव्य का पालन करने वाला व्यक्ति ही शांति पाता है।
मैनेजमेंट सूत्र: मन में इच्छा-आसक्ति शांति का विरोध करती है। कर्म से अपेक्षा हटाकर तन्मयता से काम करें।
5वाँ श्लोक
न हि कश्चित्क्षणमपि जातु तिष्ठत्यकर्मकृत्।
कार्यते ह्यशः कर्म सर्वः प्रकृतिजैर्गुणैः॥
अर्थ: कोई भी व्यक्ति कर्म किए बिना क्षणभर भी नहीं रह सकता। प्रकृति सभी से अपने अनुसार कर्म करवाती है।
मैनेजमेंट सूत्र: कर्म न करना भी एक कर्म है – इसके भी परिणाम मिलते हैं। इसलिए निरंतर कर्मशील रहें।
6वाँ श्लोक
नियतं कुरु कर्म त्वं कर्म ज्यायो ह्यकर्मणः।
शरीरयात्रापि च ते न प्रसिद्ध्येदकर्मणः॥
अर्थ: धर्मानुसार कर्म करना श्रेष्ठ है। कर्म छोड़कर शरीर का निर्वाह भी संभव नहीं।
मैनेजमेंट सूत्र: विद्यार्थी का धर्म अध्ययन, सैनिक का देशरक्षा – हर व्यक्ति को अपने कर्तव्य का पालन करना चाहिए।
7वाँ श्लोक
यद्यदाचरति श्रेष्ठस्तत्तदेवेतरो जनः।
स यत्प्रमाणं कुरुते लोकस्तदनुवर्तते॥
अर्थ: श्रेष्ठ पुरुष जैसा आचरण करता है, समाज उसका अनुसरण करता है।
मैनेजमेंट सूत्र: नेतृत्व का चरित्र ही संगठन का दिशा-निर्देश बन जाता है।
जन्मदिन विशेष
जन्मतिथि: 30 नवंबर
मूलांक: 3 (बृहस्पति)
आप दार्शनिक, ऊर्जावान, तार्किक, सामाजिक और निष्कपट होते हैं। अनुशासनप्रिय होने के कारण कभी-कभी कठोर भी हो जाते हैं। परफेक्शनिस्ट होने से अव्यवस्था आपको तनाव दे सकती है।
शुभ दिनांक: 3, 12, 21, 30
शुभ अंक: 1, 3, 6, 7, 9
शुभ वर्ष: 2028, 2030, 2031, 2034, 2043, 2049, 2052
ईष्टदेव: देवी सरस्वती, देवगुरु बृहस्पति, भगवान विष्णु
शुभ रंग: पीला, सुनहरा, गुलाबी
भविष्यफल
कारोबार: नई योजनाएँ सफल। प्रतियोगी परीक्षा में सफलता। शत्रु प्रभावहीन।
परिवार: दांपत्य जीवन सुखद। शुभ कार्य। मित्र सहयोग।
यात्रा योग: महत्वपूर्ण यात्रा संभव।
राशिफल
मेष
लंबे समय बाद सफलता। बिजनेस में नई राह। महत्वपूर्ण मुलाकात। खोई वस्तु मिलने का योग।
वृषभ
शत्रुओं से सावधान। स्वास्थ्य सतर्कता। किसी निर्णय पर पछतावा। पुरानी समस्या बढ़ सकती है।
मिथुन
वैवाहिक तनाव दूर। विदेश शिक्षा का योग। संतान से शुभ समाचार।
कर्क
नौकरी की संभावना। वाणी से मान-सम्मान। मनोकामना पूर्ण।
सिंह
बड़ा लक्ष्य पूर्ण। पैतृक संपत्ति विवाद समाप्त। स्वास्थ्य नजरअंदाज न करें।
कन्या
भाग्य साथ देगा। विवाह बाधा दूर। महत्वपूर्ण जानकारी प्राप्त।
तुला
पुरानी समस्याओं से मुक्ति। निर्णय पर पछतावा। पढ़ाई में सुधार।
वृश्चिक
घर-वाहन योग। व्यापार में लाभ। भाई-बहन से वाद-विवाद संभव।
धनु
बड़ा उत्तरदायित्व। मित्र से मुलाकात। जीवनसाथी की ओर से सरप्राइज़।
मकर
रुके काम पूरे। प्रमोशन योग। निर्णय पर पुनर्विचार।
कुंभ
परिवार में मजबूती। यात्रा योग। संतान से कहासुनी की संभावना।
मीन
अनुकूल समय। नया कार्य विचार। उधार धन वापसी।






















