जो किसान उचित दस्तावेज नहीं प्रस्तुत कर पाता है, वह लाभार्थी नहीं रह जाता
दिल्ली,संवाददाता : प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि योजना में किसानों की संख्या घटने को लेकर कई सवाल खड़े हो रहे हैं। संसद में भी इसकी गूंज सुनाई पड़ी जब कांग्रेस सांसद अमरिंदर सिंह राजा ने सवाल किया कि पंजाब जैसे कृषि-प्रधान राज्य में इस योजना के लाभार्थियों की संख्या क्यों लगातार घट रही है। ऐसा ही सवाल केरल से भी उठा था। केंद्रीय कृषि व किसान कल्याण राज्यमंत्री रामनाथ ठाकुर ने संसद में कहा कि किसानों की संख्या घटना लाजिमी है क्योंकि अब पीएम किसान पात्रता मापदंड काफी सख्त हो चुका है। जो किसान उचित दस्तावेज नहीं प्रस्तुत कर पाता है, वह लाभार्थी नहीं रह जाता।
पंजाब में सबसे तेज गिरावट
पंजाब में बीते पांच साल में प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि योजना के लाभार्थियों की संख्या लगभग 49% तक गिर गई है। दिसंबर 2019 से मार्च 2020 के बीच यह संख्या अपने चरम पर 23.01 लाख पर पहुंची थी। उस दौरान किसानों को कुल 466.47 करोड़ रुपये की किस्त जारी की गई थी। लेकिन अप्रैल से जुलाई 2025 की 20वीं किस्त आते-आते लाभार्थियों की संख्या घटकर 11.34 लाख रह गई, जबकि किसानों को इस बार 387.76 करोड़ रुपये का पेमेंट मिला।
पंजाब में लगभग 49% की गिरावट
पंजाब में लाभार्थियों की संख्या योजना के चरम पर मार्च 2020 में 23.01 लाख थी, जो अब घटकर जुलाई 2025 तक 11.34 लाख रह गई है।
किस्त | लाभार्थी किसान | जारी राशि (₹ करोड़ में) |
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3rd (2019) | 22.21 लाख | 483.42 |
4th (मार्च 2020) | 23.01 लाख | 466.47 |
5th (जुलाई 2020) | 19.01 लाख | 417.89 |
11th (जुलाई 2022) | 16.97 लाख | 340.95 |
12th (नवंबर 2022) | 2.07 लाख | 41.87 |
19th (मार्च 2025) | 10.58 लाख | 373.04 |
20th (जुलाई 2025) | 11.34 लाख | 387.76 |
12वीं किस्त में सबसे बड़ी गिरावट देखी गई थी।
केरल में भी आई थी बड़ी गिरावट
पंजाब ही नहीं, केरल में भी किसानों की संख्या में भारी गिरावट दर्ज की गई। हालांकि 19वीं किस्त में संख्या में वृदि्ध देखी गई।
11वीं किस्त (अप्रैल-जुलाई 2022) : 34.62 लाख किसान लाभार्थी थे।
12वीं किस्त (अगस्त-नवंबर 2022) : यह घटकर 20.01 लाख रह गया, क्योंकि राज्य केवल इतने किसानों के लिए भूमि सीडिंग पूरी कर पाया।
20वीं किस्त में 10 लाख कम होे गए किसान
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 2 अगस्त को पीएम किसान की 20वीं किस्त जारी की थी। इसमें 9.7 करोड़ किसानों के खाते में 2000-2000 रुपये ट्रांसफर हुए थे। इससे पहले 19वीं किस्त में 9.8 करोड़ किसानों को रकम जारी हुई थी। यानी 19 से 20वीं किस्त आते-आते 10 लाख किसान कम हो गए।
केंद्र सरकार ने क्या कहा
सरकार ने सफाई दी कि यह योजना शुरू से ही पारदर्शी रही है और इसे डिजिटल इंफ्रास्ट्रक्चर के जरिए किसानों तक सीधे पहुंचाया गया है। योजना के तहत अब तक 20 किस्तों में 3.90 लाख करोड़ रुपये से ज्यादा की रकम सीधे किसानों के खातों में भेजी गई है। सरकार का तर्क है कि आधार-सीडिंग, भूमि अभिलेख का वेरिफिकेशन और e-KYC अनिवार्य किए जाने के बाद यह सुनिश्चित किया गया है कि केवल पात्र किसान ही फायदा ले सकें। मंत्रालय के मुताबिक बिचौलियों की भूमिका पूरी तरह खत्म हो चुकी है और अब सिर्फ वही किसान लाभान्वित हो रहे हैं, जिनका डेटा वेरिफाइड है।